अशोक लीलैंड शेयर मूल्य में 6% की तेजी, रिकॉर्ड हाई पर पहुंचा – वित्तीय इकाई का एनडीएल वेंचर्स के साथ विलय मंजूर

अशोक लीलैंड के शेयरों में आज जबरदस्त उछाल देखने को मिला। कंपनी की वित्तीय सहायक इकाई हिंदुजा लीलैंड फाइनेंस लिमिटेड (एचएलएफएल) के एनडीएल वेंचर्स के साथ विलय को मंजूरी मिलने के बाद शेयरों में 6% से अधिक की बढ़ोतरी हुई। यह खबर अशोक लीलैंड स्टॉक प्राइस के लिए एक बड़ा बूस्टर साबित हुई, जिससे निवेशकों का उत्साह चरम पर पहुंच गया। आइए जानते हैं इस अशोक लीलैंड शेयर न्यूज के प्रमुख पहलुओं को विस्तार से।

विलय की मंजूरी से शेयरों में रिकॉर्ड ब्रेक

अशोक लीलैंड के शेयर गुरुवार को 6.39% तक उछलकर रुपये 158.47 के रिकॉर्ड उच्च स्तर पर पहुंच गए। इस साल अब तक कंपनी के शेयरों में 43.23% की शानदार वृद्धि हो चुकी है, जो अशोक लीलैंड शेयर मूल्य आज के ट्रेंड को दर्शाती है। एक्सचेंज फाइलिंग के अनुसार, एचएलएफएल और रियल एस्टेट कंपनी एनडीएल वेंचर्स के बीच विलय योजना को हरी झंडी मिल गई है। इस योजना के तहत, एनडीएल वेंचर्स के शेयरधारकों को एचएलएफएल के प्रत्येक 10 शेयरों के बदले 25 शेयर मिलेंगे।

इस खबर के बाद ट्रेडिंग वॉल्यूम में भी भारी इजाफा हुआ। लगभग 48.1 मिलियन शेयर का कारोबार हुआ, जो पिछले 30 दिनों के औसत 13.9 मिलियन शेयर से काफी अधिक है। एनडीएल वेंचर्स के शेयरों में भी मामूली 0.3% की बढ़ोतरी दर्ज की गई।

अशोक लीलैंड कंपनी प्रोफाइल: ऑटो सेक्टर की दिग्गज

अशोक लीलैंड भारत की प्रमुख कमर्शियल वाहन निर्माता कंपनी है, जो लाइट कमर्शियल वाहन (एलसीवी), मीडियम एंड हेवी कमर्शियल वाहन (एमएचसीवी), स्पेयर पार्ट्स, डिफेंस और पावर सॉल्यूशंस जैसे क्षेत्रों में सक्रिय है। कंपनी का फोकस निरंतर इनोवेशन और मजबूत प्रोडक्ट मिक्स पर है, जिसने हाल के क्वार्टर में बेहतर परिणाम दिए हैं। अशोक लीलैंड न्यूज में अक्सर इसकी मजबूत मार्केट पोजीशन की चर्चा होती रहती है।

इसकी सहायक कंपनी एचएलएफएल फाइनेंशियल सर्विसेज सेक्टर में काम करती है, जो वाहन फाइनांसिंग और अन्य लोन सुविधाओं पर जोर देती है। वहीं, एनडीएल वेंचर्स रियल एस्टेट डेवलपमेंट में विशेषज्ञता रखती है। इस विलय से दोनों कंपनियों को मजबूत फाइनेंशियल स्ट्रक्चर मिलने की उम्मीद है, जो अशोक लीलैंड विलय अपडेट को और आकर्षक बनाता है।

एनालिस्ट्स की राय: ‘खरीदें’ रेटिंग के साथ टारगेट प्राइस

36 एनालिस्ट्स के औसत मूल्यांकन के अनुसार, अशोक लीलैंड पर ‘खरीदें’ रेटिंग बरकरार है, जिसमें मीडियन टारगेट प्राइस रुपये 160 है। मोतीलाल ओसवाल की हालिया रिपोर्ट में जुलाई-सितंबर तिमाही के बेहतर से बेहतर नतीजों का जिक्र किया गया। इस दौरान लाभप्रदता में अपेक्षा से अधिक वृद्धि हुई, जो बेहतर प्रोडक्ट मिक्स, गैर-कमर्शियल वाहनों से अधिक राजस्व और बेहतर ऑपरेटिंग लीवरेज पर आधारित थी।

मार्जिन 12.1% तक बढ़ गया, जिसमें स्पेयर पार्ट्स, डिफेंस और पावर सॉल्यूशंस बिजनेस की ग्रोथ अहम रही। एक्सपोर्ट्स में सालाना आधार पर 35% की तेजी आई। कंपनी अब नेट कैश पोजीशन में आ चुकी है। मोतीलाल ओसवाल ने ‘खरीदें’ रेटिंग को दोहराते हुए टारगेट प्राइस रुपये 165 रखा है। आने वाले समय में एलसीवी में डिमांड रिकवरी, एमएचसीवी में सुधार, नए प्रोडक्ट लॉन्च जैसे एमएचसीवी टिपर्स और बसें ग्रोथ को सपोर्ट करेंगे।

भविष्य की संभावनाएं: मजबूत फंडामेंटल्स पर फोकस

यह विलय और कंपनी के मजबूत फंडामेंटल्स से अशोक लीलैंड स्टॉक टारगेट 2025 में और ऊंचा जाने का अनुमान है। नॉन-ट्रक सेगमेंट्स में ग्रोथ, अनुशासित कैपिटल एक्सपेंडिचर और मार्जिन एक्सपैंशन से मीडियम टर्म में रिटर्न्स स्थिर रहेंगे। निवेशकों को सलाह दी जाती है कि वे अशोक लीलैंड शेयर प्राइस टुडे के ट्रेंड पर नजर रखें और लॉन्ग-टर्म इनवेस्टमेंट के लिए विचार करें।

डिस्क्लेमर: यह लेख सूचना के उद्देश्य से है। निवेश से पहले विशेषज्ञ सलाह लें।

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